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可在安卓獲取Edu-Test | शैक्षिकाभिवृत्तिपरीक्षणम्的歷史版本
शिक्षाशास्त्र तथा मनोविज्ञान विषयक शैक्षिक अभिवृत्ति विषय लेकर प्रतियोगी परीक्षा
शैक्षिकाभिवृत्तिपरीक्षणम्, नामक यह एंड्रॉयड ऐप शिक्षाशास्त्र तथा मनोविज्ञान विषयक शैक्षिक अभिवृत्ति विषय लेकर प्रतियोगी परीक्षाओं में भाग ले रहे स्नातक और परास्नातक की विषयवस्तु पर केंद्रित है । शैक्षिकाभिवृत्ति विषय के विविध प्रश्नपत्रों को ध्यान में रखते हुए इसका निर्माण किया गया है शिक्षा शिक्षण तथा मनोविज्ञान से सन्दर्भित प्रश्नावलियों का संकलन यहाँ किया गया है । प्रतियोगी परीक्षाओं (जैसे NET, SLET, JRF, CPSST, CPSAT, CSVVT आदि ) के अनुकूल वस्तुनिष्ठता पर आधारित प्रश्नपत्रों का प्रारूप इस ऐप की मुख्य विशेषता है ।
‘शिक्ष्’ धातु से निष्पन्न शिक्षा शब्द का अर्थ है... ज्ञान प्राप्त करना....! सुकरात कहते हैं कि संसार के सर्वमान्य विचार मस्तिष्क में स्वभावतः निहित हैं, उन्हें प्रकाशित करना ही शिक्षा है। अरस्तू स्वस्थ मन और शरीर के सृजन को शिक्षा मानते हैं। जबकि महात्मा गाँधी कहते हैं कि शिक्षा का तात्पर्य बच्चे एवं वयस्क दोनों के शरीर, मन और आत्मा में निहित सर्वोत्तम शक्तियों के सर्वांगीण प्रकटीकरण से है...।
सामयिक परिवेश में शिक्षा का स्वरूप संस्थान केंद्रित, औपचारिकता तक सीमित हो चुका है, जबकि परिवार, समाज, संचार माध्यमों तथा प्रकृति के बदलाव में शिक्षा का वास्तविक और व्यापक रहस्य निहित है । जीविकोपार्जन के उद्देश्य में अर्जित शिक्षा व्यक्तित्व को बाह्य सुरक्षा मुहैया कराती है, जिसमें रोटी-कपड़ा-मकान का औचित्य सिद्ध है । शिक्षा के माध्यम से आत्मबोध होना महत्त्वपूर्ण उद्देश्यों में से एक है, विषम परिस्थि में निर्णय लेने की क्षमता, सर्वजनहिताय के उद्देश्य में जीवनयापन, संस्कृतियों के प्रश्रय में मनोभावों की जीवन्तता,चरित्र निर्माण, उदात्तव्यक्तित्व के रूप में आत्मप्रतिष्ठापना, स्वस्थ शरीर, स्वस्थ मन के साथ स्वस्थ समाज के निर्माण में महत्वपूर्ण इकाई बनना भी शिक्षा का उद्देश्य है।
शिक्षण की विधियों में हरवार्ट प्रविधि, प्रोजेक्ट प्रणाली, डाल्टन पद्धति आदि कई में अध्यापन की विस्तृत रूपरेखा समायोजित है। शिक्षा-मनोविज्ञान की विधियों में अंतर्मुखी अवलोकन, प्राकृतिक अवलोकन, प्रयोगात्मक विधि प्रमुख हैं। शिक्षा में आदर्शवाद और यथार्थवाद का समन्वय भी अपेक्षित है.... इस सबके साथ ही बेकन और कमेनियस द्वारा आरम्भित शिक्षा के क्षेत्र में प्रकृतिवाद का आंदोलन दार्शनिक रूसो द्वारा समर्थित । शिक्षा में प्रयोजनवाद भी एक दार्शनिक विचारधारा है.... यह विचारधारा आदर्शवाद और प्रकृतिवाद दोनों का विरोध करती है, इसमें व्यावहारिक तर्क अधिक महत्त्वपूर्ण हैं और आध्यात्मिक तत्त्व उपेक्षित हैं।
उपर्युक्त बिंदुओं को ध्यान में रखते हुए विभिन्न परीक्षाओं की तैयारी कर रहे छात्रों केलिए स्वयं का परीक्षण करने हेतु “शैक्षिकाभिवृत्तिपरीक्षणम्” नामक इस एंड्रॉयड ऐप का निर्माण किया गया है । जिसमें तीस से चालीस प्रारूप प्रश्नपत्र होंगे । प्रत्येक प्रश्नपत्र में पचास प्रश्न हैं । निर्धारित आधे घण्टे में पचास प्रश्नों के सही उत्तर पर टिक करना है । यदि गलत टिक हुआ टिक किया हुआ उत्तर लाल रंग का होगा तथा जो सही उत्तर होगा उसका रंग हरा हो जाएगा फिर अगले प्रश्न पर जाने का संकेत भी हो जाएगा और उत्तर यदि सही हुआ तो सही उत्तर का रंग हरा हो जाएगा । निर्धारित अवधि के पश्चात प्राप्तांक निर्दिष्ट हो जाएगा । अब सांगोपांग अध्ययन के पश्चात प्रतिभागी संशय उन्मूलन हेतु अनेकशः अभ्यास के द्वारा अपने ज्ञान का परीक्षण कर सकता है । यह नेट/सेट/स्लेट/टीजीटी/पीजीटी आदि परीक्षाओं में शैक्षिक अभिक्षमता विषयक परीक्षण हेतु सहज, सुगम उपाय है । यह ऐप मेरे अन्य एपों की तरह पूर्णतया निःशुल्क है । अधिकाधिक प्रतिभागी लाभान्वित हो सकें यही हमारे श्रम का वास्तविक मूल्य है । सभी उपयोगकर्ताओं को कोटिशः साधुवाद । जिस किसी कि सामग्री का उपयोग इस एप में किया उन सभी को साभार धन्यवाद....।
प्रो.मदनमोहनझा
Last updated on 2018年09月09日
Improvements
Edu-Test | शैक्षिकाभिवृत्तिपरीक्षणम्
1.3 by Srujan Jha
2018年09月09日